Karwa Chauth 2023 Date: इस साल करवा चौथ 1 नवंबर 2023, बुधवार को मनाया जाएगा. करवा चौथ का व्रत उदया तिथि से मान्य होता है, इसलिए इस साल करवा चौथ का व्रत 1 नवंबर को पड़ रहा है. करवा चौथ का व्रत सुहागिन महिलाएं अपनी पति की लंबी आयु और सुखमय जीवन के लिए रखती है. इस दिन महिलाएं निर्जला व्रत रखती हैं और शाम को चंद्रोदय के बाद चंद्रमा की पूजा करती हैं और अपने पति के हाथों से जल ग्रहण कर व्रत को खोलती हैं. करवा चौथ भारत के सभी हिस्सों में मनाया जाता है.
करवा चौथ कब है 31 अक्टूबर या 1 नवंबर ?
यह व्रत हिंदू धर्म का एक प्रमुख त्यौहार है, जो कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि को मनाया जाता है. इसलिए इस साल करवा चौथ का व्रत 31 अक्टूबर 2023, मंगलवार को शाम 9:30 बजे से शुरू होगा और 1 नवंबर 2023, बुधवार को रात 9:10 बजे तक चलेगा.
करवा चौथ का व्रत उदयातिथि से मान्य होता है, इसलिए इस साल करवा चौथ 1 नवंबर, 2023 दिन बुद्धवार को मनाया जाएगा है.
करवा चौथ 2023 मुहूर्त (Karwa Chauth 2023 Muhurat)
यह व्रत सुहागिन महिलाओं द्वारा अपने पति की लंबी आयु और सुखी जीवन के लिए मनाती है. इस दिन महिलाएं निर्जला व्रत रखती हैं और शाम को चंद्रमा को अर्घ्य देती हैं. करवा चौथ का मुहूर्त और समय निम्नलिखित हैं.
- तिथि: कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि
- दिन: बुधवार
- व्रत का समय: 1 नवंबर, सुबह 06:36 – रात 08:26 बजे
- चंद्रोदय का समय: 1 नवंबर, 2023, रात 8:26 बजे
- व्रत का पारण: 1 नवंबर, 2023, रात 8:26 बजे के बाद
- पूजा का मुहूर्त: 1 नवंबर, शाम 5 बजकर 44 मिनट से 7 बजकर 02 मिनट तक
करवा चौथ क्यों मनाते हैं (Karwa Chauth Significance)
यह व्रत सुहागिन महिलाओं के लिए एक महत्वपूर्ण त्योहार है. इस दिन महिलाएं अपने पति के प्रति अपनी पतिव्रता का व्रत करती हैं और उनके लंबे और सुखी जीवन की कामना करती हैं. इस दिन महिलाएं सुबह जल्दी उठकर स्नान करती हैं और नए कपड़े पहनती हैं. फिर वे करवा चौथ की पूजा करती हैं. पूजा में वे करवा, धान, जौ, कद्दू, घी, फल, फूल, मिठाई और अन्य सामग्री चढ़ाती हैं.
शाम को चंद्रमा के उदय होने पर महिलाएं चंद्रमा को अर्घ्य देती हैं. अर्घ्य देने के बाद वे अपने पति से प्रसाद लेती हैं और अपना व्रत खोलती हैं.
करवा चौथ व्रत की विधि
- व्रत रखने वाली महिला सुबह सूर्योदय से पहले उठकर स्नान करती है और नए कपड़े पहनती है.
- वह अपने पति की तस्वीर के सामने एक थाली में करवा, सिंदूर, अक्षत, फूल, मिठाई, और अन्य सामग्री रखती है.
- वह करवा चौथ की कथा सुनती है और अपने पति की लंबी उम्र के लिए प्रार्थना करती है.
- वह रात भर निर्जला व्रत रखती है और अपने पति के लिए करवा चौथ का व्रत रखती है.
- चंद्रोदय के बाद, वह चंद्रमा को अर्घ्य देती है और अपने पति के साथ भोजन करती है.
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